केंद्र सरकार आदिवासी, खासकर महिलाओं के सर्वांगीण विकास के लिए संकल्पित है। इसका जीवंत उदाहरण मैं खुद हूं, जो ओडिशा के छोटे से गांव से निकल कर आज दिल्ली के सबसे ऊंचे पद पर बैठी हूं। मंगलवार को राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मु ने ये बातें कहीं। अपने गृह क्षेत्र में मंगलवार को तीन नई ट्रेनों (बदामपहाड़-टाटानगर मेमू, बदामपहाड़-शालीमार साप्ताहिक व बदामपहाड़ राउरकेला साप्ताहिक एक्सप्रेस) को रवाना करने के बाद जनता को संबोधित करते हुए राष्ट्रपति मुर्मू ने कहा कि मैं ओडिशा की माटी में ही पली-बढ़ी हूं। आज भले ही ऊंचे पद पर हूं, लेकिन मैं इस माटी को कभी नहीं भूल सकती।

केंद्र सरकार के कार्यों की राष्ट्रपति ने की प्रशंसा
राष्ट्रपति ने केंद्र सरकार के कार्यों की प्रशंसा करते हुए कहा कि वर्तमान सरकार के नेतृत्व में शिक्षा, स्वास्थ्य, सड़क, रेल सहित हर क्षेत्र का सर्वांगीण विकास हो रहा है। यह तभी संभव है, जब सबका साथ व सबका विश्वास हो। राष्ट्रपति ने कहा कि मयूरभंज अंचल के सर्वांगीण विकास को लेकर मैंने जो सपना देखा था, वह आज पूरा हो रहा है। नई ट्रेनों के परिचालन होने से न सिर्फ मयूरभंज अंचल झारखंड और पश्चिम बंगाल से सीधे जुड़ेगा, बल्कि व्यापार के नए रास्ते भी खुलेंगे। इसके साथ ही यात्री सुविधाओं में भी बढ़ोतरी होगी।

'आदिवासी भाई-बहनों के विकास का काम कर रही केंद्र सरकार'
उन्होंने कहा कि केंद्र सरकार आदिवासी भाई-बहनों के विकास के लिए काफी काम कर रही है। शिक्षा के क्षेत्र में की जा रही पहल इसका उदाहरण है। मयूरभंज अंचल को तीन नई ट्रेन देने के लिए उन्होंने रेलमंत्री अश्विनी वैष्णव सहित केंद्र सरकार का आभार व्यक्त किया।

इस दौरान राष्ट्रपति बदामपहाड़ से ट्रेन में बैठकर अपने गृह क्षेत्र मयूरभंज जिला स्थित रायरंगपुर स्टेशन पहुंचीं। राष्ट्रपति ने अमृत भारत योजना के अंतर्गत बदामपहाड़ स्टेशन के 12 करोड़ की लागत से पुनर्विकास योजना का शिलान्यास, रायरंगपुर डाक विभाग के नए कार्यालय का उदघाटन व डाक विभाग के स्मारक विशेष आवरण का विमोचन भी किया।

ये लोग रहे उपस्थित
इस अवसर पर ओडिशा के राज्यपाल रघुवर दास, रेलमंत्री अश्विनी वैष्णव, केंद्रीय शिक्षा मंत्री धर्मेंद्र प्रधान, जलशक्ति मंत्रालय के राज्य मंत्री विश्वेश्वर टुडू समेत कई बड़े नेता उपस्थित थे।