नई दिल्ली । सारी दुनिया के देशों में रिजर्व स्वर्ण भंडार के मामले में भारत का नौवां नंबर है। सबसे ज्यादा सोना अमेरिका के पास है। अमेरिका के पास 81336 टन सोना है। दूसरे नंबर पर जर्मनी है। इसके पास 3352 टन सोना है। इटली के पास 2452 टन सोना है। फ्रांस के पास 2437 टन सोना है। रूस के पास 2333 टन सोना है। चीन के पास 2191 टन सोना है। वही स्विट्जरलैंड के पास 1040 टन सोना है।जापान के पास 846 टन सोना है। भारत के पास 801 टन सोना है। नीदरलैंड के पास 612 टन सोना है।
फ़ोबर्स सूची में गोल्ड रिजर्व के आधार पर जिन देशों के पास सोने का स्टॉक रिजर्व के रूप में है। उनकी सूची जारी की गई है। इस सूची में भारत नवे स्थान पर है। सऊदी अरब के पास 323 टन गोल्ड रिजर्व के रूप में रखा गया है। ब्रिटेन ने 310 टन सोना रिजर्व के रूप में रखा है। अंतर्राष्ट्रीय मुद्रा नियम के अनुसार मुद्रा के उतार-चढ़ाव और जोखिम को कम करने के लिए गोल्ड रिजर्व का नियम बनाया गया है।जब डॉलर का रेट घटता है,तब सोने की कीमत बढ़ती है। अंतर्राष्ट्रीय मुद्रा में स्वर्ण भंडार काफी महत्वपूर्ण भूमिका निर्वाह करता है।
अमेरिका में 2008 में जो आर्थिक मंदी आई थी। उससे बाहर निकलने के लिए अमेरिका ने उस समय अपना सोना बेचकर आर्थिक मंदी से निजात पाई थी। विश्व बैंक द्वारा सभी देशों को गोल्ड रिजर्व  की मात्रा बढ़ाने का निर्देश दिया गया था। उसके बाद से सभी देशों ने बड़ी मात्रा में सोना खरीदा। जिसके कारण 2008 के बाद से लगातार सोने के भाव बढ़ते रहे। इसका सबसे ज्यादा लाभ अमेरिका को हुआ,और अमेरिका अपनी आर्थिक मंदी से बाहर निकल पाया।